हरियाणा चुनाव 2024 : जेजेपी को झटके , BJP का कुनबा बढ़ेगा ?

हरियाणा चुनाव 2024 : जेजेपी को झटके , BJP का कुनबा बढ़ेगा ?

हरियाणा विधानसभा चुनाव 2024: राजनीतिक माहौल में हलचल

हरियाणा में आगामी विधानसभा चुनाव 2024 के मद्देनजर राजनीतिक माहौल तेजी से बदल रहा है। इस बार का चुनाव बेहद दिलचस्प होने वाला है, क्योंकि चुनाव की घोषणा के बाद से ही सत्तारूढ़ और विपक्षी पार्टियों के बीच खलबली मची हुई है। खासकर जननायक जनता पार्टी (जेजेपी) को लगातार झटके लग रहे हैं। पार्टी के कई प्रमुख नेता अब भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की ओर रुख कर रहे हैं। ऐसे में सवाल उठता है कि क्या इस चुनाव में बीजेपी का कुनबा बढ़ेगा?

देवेंद्र बबली और सुनील सांगवान: बीजेपी में शामिल होने की अटकलें

ताजा घटनाक्रम में जेजेपी के बागी विधायक देवेंद्र बबली और पूर्व जेल सुपरिटेंडेंट सुनील सांगवान के बीजेपी में शामिल होने की संभावना जताई जा रही है। देवेंद्र बबली, जो टोहाना से विधायक हैं और हरियाणा सरकार में मंत्री रह चुके हैं, हाल ही में जेजेपी से इस्तीफा दे चुके हैं। उनके इस कदम से पार्टी के भीतर असंतोष और अधिक बढ़ गया है।

सुनील सांगवान, जो हरियाणा सरकार के पूर्व मंत्री सतपाल सांगवान के पुत्र हैं, ने भी हाल ही में जेल सुपरिटेंडेंट पद से इस्तीफा दे दिया है। उनके चरखी दादरी से चुनाव लड़ने की संभावना है। माना जा रहा है कि चुनाव लड़ने के लिए ही उन्होंने अपनी सर्विस से इस्तीफा दिया है।

जेजेपी में इस्तीफों का सिलसिला

जेजेपी के लिए यह चुनावी दौर मुश्किलों भरा साबित हो रहा है। देवेंद्र बबली और सुनील सांगवान से पहले भी पार्टी के कई विधायक इस्तीफा दे चुके हैं। अनूप धानक और रामकरण काला जैसे प्रमुख विधायकों ने पार्टी छोड़ दी है, जिससे पार्टी के भीतर तनाव और अस्थिरता बढ़ गई है। इन इस्तीफों से जेजेपी की राजनीतिक ताकत कमजोर होती नजर आ रही है, जिसका सीधा फायदा बीजेपी को हो सकता है।

देवेंद्र बबली का इस्तीफा: जेजेपी के लिए बड़ा झटका

देवेंद्र बबली का इस्तीफा जेजेपी के लिए एक बड़ा झटका साबित हो सकता है। उन्होंने अपने इस्तीफे में जेजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अजय सिंह चौटाला को लिखा, “मैं टोहाना विधायक आपसे अनुरोध करता हूं कि मैं जननायक जनता पार्टी के सभी पदों/दायित्वों की जिम्मेदारी से इस्तीफा देता हूं। कृपया मेरा इस्तीफा मंजूर किया जाए।”

बबली ने टोहना विधानसभा सीट से बीजेपी के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सुभाष बराला को 50 हजार से ज्यादा वोटों से हराया था। उनकी इस जीत ने उन्हें हरियाणा की राजनीति में एक महत्वपूर्ण चेहरा बना दिया था। जेजेपी-बीजेपी सरकार में भी उन्होंने कैबिनेट मंत्री के रूप में काम किया था। उनके बीजेपी में शामिल होने से बीजेपी की स्थिति मजबूत हो सकती है, खासकर टोहाना और इसके आसपास के इलाकों में।

आगामी चुनावों पर असर

जेजेपी के विधायकों के लगातार इस्तीफे और बीजेपी में शामिल होने की संभावना से हरियाणा के आगामी चुनावों में बीजेपी की स्थिति मजबूत होती नजर आ रही है। हालांकि, जेजेपी के नेता दुष्यंत चौटाला ने पार्टी कार्यकर्ताओं और समर्थकों से अपील की है कि वे आपसी मन-मुटाव को भूलकर एक नई शुरुआत करें। लेकिन, मौजूदा हालातों को देखते हुए यह कहना मुश्किल है कि जेजेपी इस चुनावी दौर में कितनी मजबूती से खड़ी रह पाएगी।

इस चुनाव में क्या बीजेपी अपने कुनबे को और बड़ा कर पाएगी या नहीं, यह देखना दिलचस्प होगा। आने वाले दिनों में हरियाणा की राजनीतिक तस्वीर और भी स्पष्ट हो जाएगी।

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